प्रदेश का पहला जनजातीय स्वतंत्रता संग्राम सेनानी संग्रहालय छिंदवाड़ा में बनकर तैयार: पीएम मोदी 15 को करेंगे लोकार्पण, जाने इस म्युजियम की खास बातें

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दुर्गेश नरोटे, छिंदवाड़ा, मध्यप्रदेश
9977886526

पीएम मोदी 15 नवंबर को करेंगे श्री बादलभोई जनजातीय स्वतंत्रता संग्राम सेनानी संग्रहालय का वर्चुअल लोकार्पण

छिंदवाड़ा- आदिवासी संस्कृति को बढ़ावा देने के लिए 15 अगस्त 2016 को प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी ने 10 राज्यों में जनजातीय संग्रहालय बनाने की घोषण की थी, जिसमे मध्यप्रदेश में छिंदवाड़ा के श्री बादल भोई आदिवासी संग्रहालय के स्थान पर नर्वीन जनजातीय संग्रहालय बनाने की पहल की गई। लगभग 10 एकड़ की भूमि पर 30 करोड़ की लागत से बीते 6 वर्षो से बन रहे भव्य संग्रहालय में आदिवासी संस्कृति व परम्पराओं के साथ ही अन्य जनजातीय संस्कृति की झलक भी देखने को मिलेगी। जिले वासियों के लिए नवीन संग्रहालय जल्द खुलने वाला है। सिविल वर्क पूरा हो चुका है अब वन्या संस्था द्वारा युद्ध स्तर पर अंदर की साज सज्जा का काम किया जा रहा है।

काम कब तक करना था पूर्ण

नवीन राष्ट्रीय आदिवासी संग्रहालय में लगभग 90 फीसदी काम पूरा हो गया है। इसे पूरा करने के लिए निर्माण एजंसी को पहले 15 सितम्बर 2024 तक का अल्टीमेटम दिया गया था। हालांकि जनजातीय संग्रहालय को पहले वर्ष 21 में तथा फिर मई 23 तक बनाकर तैयार करने तिथि तय की गई थी, अब इंतजार खत्म होने वाला है 15 नवंबर को नए संग्रहालय का लोकार्पण पीएम मोदी के हस्ते वर्चुअल होने जा रहा है, इसको लेकर तैयारियां तेज कर दी गई है। फिनिशिंग का काम युद्ध स्तर पर जारी है।

संग्रहालय में यह होगा

नवीन संग्रहालय में 4 गैलरी, दो वर्कशॉप हॉल प्रथम तल व ग्राउंट फ्लोर, ओपन थियेटर, कैफे टेरिया एवं शानदार एंट्रेस लॉबी बनाई जा रही है वही मुख्य प्रवेश द्वार के पास सुंदर गार्डन बनाया जा रहा है।

आकार ले रही जनजातीय नायकों की शौर्य गाथा

जनजातीय स्वतंत्रता संग्राम सेनानियों को स्मर्पित संग्रहालय भारत सरकार द्वारा लगभग 30 करोड़ से भी ज्यादा की लागत से बनाया जा रहा है। बादल भोई राज्य जनजातीय संग्रहालय परिसर में जनजातीय स्वतंत्रता संग्राम सेनानी संग्रहालय बनाया जा रहा है, जिसमें मध्यप्रदेश की 16 जनजातीय स्वतंत्रता संग्राम सेनानियों के काम और नौ प्रमुख जनजातीय विद्रोह को प्रदर्शित किया जाएगा। यह संग्रहालय मध्यप्रदेश का एकमात्र होगा, जिस में जनजाती्य, नायकों की शौर्य गाथा प्रदर्शित की जाएगी।

5.8 करोड़ से 15 करोड़ रुपए पहुंची साज सज्जा

संग्रहालय निर्माण कार्य के लिए कुल 30 करोड़ की प्रशासकीय स्वीकृति दी गई थी। जिसमें सिविल व इलेक्ट्रिकल कार्य के लिए 24.19 करोड़ तथा वन्या को संग्रहालय की साज सज्जा के लिए 5.8 करोड़ स्वीकृत किए गए थे। लेकिन ट्राइबल रिसर्च इंस्टीटयूट भोपाल के पत्र के बाद सिविल व इलेक्ट्रिकल कार्य की राशि कम कर साज सज्जा के लिए वन्या को 12 करोड़ देने की स्वीकृति प्रदाय की गई, बाद में जिसे बढ़ाकर 15 करोड़ कर दिया गया था। नए बन रहे संग्रहालय की कुल लागत 30 करोड़ रुपए से भी अधिक बताई जा रही है जिसमे सिविल वर्क से लेकर साज सज्जा और अन्य कार्य शामिल है। बताया जा रहा है निर्माण व साज सज्जा के कार्य दो चरण में पूर्ण होंगे। अभी प्रथम चरण का कार्य अंतिम दौर में है।

अपर मुख्य सचिव श्री कुमार ने लिया तैयारियों का जायजा

प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी द्वारा आगामी 15 नवंबर को छिंदवाड़ा में स्थित ‘श्री बादल भोई राज्य आदिवासी संग्रहालय’ का वर्चुअल माध्यम से उद्घाटन किया जाएगा। इस महत्वपूर्ण आयोजन की तैयारियों की समीक्षा हेतु मध्यप्रदेश शासन के अपर मुख्य सचिव विनोद कुमार बीते दिनों छिंदवाड़ा पहुंचे थे। इस दौरान उन्होंने संग्रहालय में तैयारियों का गहनता से निरीक्षण किया और संबंधित अधिकारियों को आवश्यक निर्देश दिए। अपर मुख्य सचिव कुमार के निरीक्षण के दौरान कलेक्टर शीलेन्‍द्र सिंह, पुलिस अधीक्षक मनीष खत्री, जिला पंचायत के मुख्य कार्यपालन अधिकारी अग्रिम कुमार, अपर कलेक्टर के.सी.बोपचे, एसडीएम सुधीर जैन, नगरपालिक निगम आयुक्त सी.पी.राय और सहायक आयुक्त जनजातीय कार्य विभाग सतेन्द्र सिंह मरकाम सहित अन्य अधिकारी उपस्थित रहे।अधिकारियों ने संग्रहालय में चल रहे अंतिम चरण के कार्यों की जानकारी दी और यह सुनिश्चित किया कि सभी व्यवस्थाएं समय से पूर्ण हो जाएं। अपर मुख्य सचिव श्री कुमार ने संग्रहालय में विभिन्न क्षेत्रों का दौरा करते हुए वहां प्रदर्शित किए जाने वाले सांस्कृतिक धरोहरों की जानकारी ली। इस दौरान उन्होंने संग्रहालय के पुराने भवन का भी निरीक्षण किया एवं जानकारी प्राप्त की।